Trending Now
हालांकि इन दोनों ही नेताओं के आरोपों को चुनाव आयोग नकार चुका है। आयोग ने कड़े शब्दों में कहा है कि ईवीएम मशीनों में गड़बड़ी के आरोप बेबुनियाद और बेतुके हैं। उन्हें चुनाव के दौरान किसी दल या प्रत्याशी या दल की तरफ से छेड़छाड़ की शिकायत या सबूत नहीं मिले हैं। पूरा चुनाव पारदर्शी और निष्पक्ष है।
आयोग ने यह भी कहा था कि अगर कोई ठोस सबूत देता है तो उसकी जांच होगी। गौरतलब है इससे पहले भी छेड़छाड़ की शिकायतों को सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट खारिज किया है। यह मशीन सन् 2000 से चलन में है और 2004, 2009 के अलावा 2014 में 107 विधानसभा चुनावों में उपयोग की जा चुकी है।
स्लाइडर के जरिये पढ़ें पूरी पोस्ट..
loading...